केंद्रीय मंत्री नरेंद्र तोमर और पशुपति कुमार पारस ने किया AIF, PMFME एवं PMKSY के बीच कन्वर्जेस मॉड्यूल का शुभारंभ

कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय की कृषि अवसंरचना कोष (AIF) योजना और खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालय की प्रधानमंत्री सूक्ष्म खाद्य उद्यम उन्नयन योजना (PMFME) एवं प्रधानमंत्री किसान संपदा योजना (PMKSY) के बीच अभिसरण (कन्वर्जेस) मॉड्यूल का शुभारंभ केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर और पशुपति कुमार पारस ने आजादी का अमृत महोत्सव के अंतर्गत किया। इस अवसर पर तोमर ने कहा कि इस तरह की पहल के माध्यम से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा जनकल्याण के लिए सामूहिक रूप से सरकार का संचालन करने की सोच साकार हो रही है, जिससे देश के विभिन्न वर्गों को फायदा होगा, जिनमें किसान और प्रसंस्करण क्षेत्र के लघु उद्यमी भी शामिल हैं। पारस ने कहा कि यह नई पहल कृषि एवं खाद्य प्रसंस्करण क्षेत्र के लिए फायदेमंद और प्रेरणादायी है।
कार्यक्रम में तोमर ने कहा कि प्रधानमंत्री जी की भावना के अनुरूप, सरकार की योजनाओं का लाभ जन-जन तक पहुंचाने के उद्देश्य से विभिन्न मंत्रालयों में सहकार-सहयोग के माध्यम से कन्वर्जेस मॉड्यूल की शुरूआत की गई है। पीएम मोदी का कहना रहा है कि सभी मंत्रालय एक-दूसरे के साथ मिलकर काम करें और एकांगी नहीं सोचें, ताकि लोगों को विभिन्न योजनाओं का लाभ मिल सकें। इस पहल के माध्यम से आत्मनिर्भर भारत अभियान को मूर्त रूप देने में योगदान होगा, जनकल्याण के प्रकल्प आगे बढ़ा सकेंगे तथा छोटे लोगों की ताकत बढ़ाकर देश के नवनिर्माण में योगदान दे सकेंगे।
केंद्रीय कृषि मंत्री तोमर ने कहा कि कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय तथा खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालय की विभिन्न योजनाओं के माध्यम से किसानों व उद्यमियों को निरंतर लाभ हो रहा है, वहीं रोजगार के अवसर भी बढ़े हैं। तोमर ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी की पहल के कारण गत आठ वर्षों में अनेक योजनाओं का सृजन हुआ है। देश का सौभाग्य है कि पीएम मोदी जैसे दूरदृष्टि वाले अनुभवी प्रधानमंत्री हमें मिले हैं। उनकी लगातार यह कोशिश रहती है कि कमजोर तबके की ताकत कैसे बढ़ाएं और विभिन्न क्षेत्रों में जो गैप लंबे समय से रही, उसे कैसे भरा जाकर लोगों को फायदा पहुंचाया जाएं। इस दृष्टि से, कोविड के समय कृषि क्षेत्र की उपलब्धियों के कारण देश को काफी लाभ हुआ और तब प्रधानमंत्रीजी ने वोकल फार लोकल तथा आत्मनिर्भर भारत अभियान की बातें कहीं तथा एक लाख करोड़ रु. के कृषि इंफ्रा फंड सहित कृषि से सम्बद्ध क्षेत्रों के लिए कुल डेढ़ लाख करोड़ रु. से ज्यादा के विशेष पैकेजों की शुरूआत की, जिनमें खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालय की योजनाएं भी शुरू की गई। इन सबका लाभ देश में नीचे तक पहुंच रहा है।